शिमला: हिमाचल प्रदेश की बेटी मेजर राधिका सेन ने हिमाचल प्रदेश सहित देश का नाम रोशन किया है. मेजर राधिका सेन को संयुक्त राष्ट्र के सबसे बड़े सैन्य सम्मान से सम्मानित किया गया है. उन्हें “यूनाइटेड नेशंस मिलिट्री जेंडर एडवोकेट ऑफ़ द ईयर” अवार्ड से नवाज़ा गया है. कांगो में संयुक्त राष्ट्र शांति रक्षक दिवस के उपलक्ष पर संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने राधिका को सम्मानित किया.
मेजर राधिका सेन मार्च 2023 से अप्रैल 2024 तक कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य (Democratic Republic of the Congo) के पूर्व में तैनात थी. वह भारतीय त्वरित तैनाती बटालियन की टीम कमांडर थी, जिसमें उन्होंने 20 महिला और 10 पुरुष सैनिकों की टीम को लीड किया था. मेजर राधिका का काम कांगो के लोगों से बातचीत करना, संघर्ष जोन में महिलाओं और बच्चों की आवाज को बुलंद करना और विस्थापितों की समस्याओं को सुलझाना था. राधिका की अगुवाई में टीम द्वारा लैंगिक समानता, रोज़गार, बच्चों की देखभाल, शिक्षा और महिलाओं की स्वास्थ्य जैसे विषयों पर शैक्षणिक सत्र आयोजित किए गए.
हिमाचल के सुंदरनगर से संबंध
मेजर राधिका सेन मूल रूप से हिमाचल प्रदेश के जिला मंडी के नगर परिषद सुंदरनगर के भड़ोह वार्ड से संबंध रखती हैं. बायोटेक्नोलॉजी इंजीनियरिंग की पढाई के बाद राधिका सेन ने आईआईटी बॉम्बे से मास्टर डिग्री हासिल की. उन्होंने आठ वर्ष पहले भारतीय सेना ज्वाइन की. मेजर राधिका सेन संयुक्त राष्ट्र का यह प्रतिष्ठित पुरस्कार पाने वाली दूसरी भारतीय सैनिक हैं. मेजर राधिका से पहले मेजर सुमन गवानी 2019 में संयुक्त राष्ट्र सैन्य लिंग अधिवक्ता पुरस्कार से सम्मानित हो चुकी हैं.
शिक्षक माता-पिता की संतान
राधिका के पिता ओंकार सेन राजकीय बहुतकनीकी संस्थान हमीरपुर और माता निर्मला सेन चौहार वैली के कथोग स्कूल से प्रधानाचार्य पद से सेवानिवृत्त हैं. राधिका के पिता के 3 भाई हैं और चारों भाइयों की दो-दो बेटियां हैं. सभी बेटियां बड़े पदों पर आसीन हैं और परिवार का नाम रोशन कर रही हैं. राधिका के पिता ओंकार सेन ने बेटी की उपलब्धि को देश की सेना, देशवासियों सहित सुंदरनगर के लोगों को समर्पित किया है. राधिका की इस उपलब्धि से पूरे क्षेत्र में खुशी की लहर है.
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FIRST PUBLISHED : June 1, 2024, 23:00 IST