विशाल झा/गाजियाबाद. उम्र सिर्फ जीवन का एक पड़ाव है. अगर आप खुद को सकारात्मक रखें, तो किसी भी उम्र में खुद को बुजुर्ग नहीं महसूस करेंगे. गाजियाबाद के ‘खिलाड़ी चच्चा ‘ भी इसी फॉर्मूले को लेकर अपनी जिंदगी जी रहे हैं. नेवी से सेवानिवृत बुजुर्ग महिपाल सिंह आज खेल जगत में अपनी पहचान कायम कर चुके हैं. 60 वर्ष की उम्र के आंकड़े को पार करने के बाद भी महिपाल किसी युवा की तरह दौड़ लगाते हैं. कई बार तो युवाओं को भी पछाड़ कर आगे निकल जाते हैं.
महिपाल सिंह गाजियाबाद के राजनगर एक्सटेंशन के निवासी हैं. जब वो सेवानिवृत हुए तो उन्होंने खुद का व्यापार शुरू किया. इसके बाद उनके बड़े बेटे ने कहा कि आप ये सब छोड़कर अपनी इच्छाओं को पूरा करिए. फिर महिपाल ने प्रतियोगिताओं में भाग लेना शुरू कर दिया. सबसे पहले उन्होंने जिले आयोजित डिस्ट्रिक्ट मास्टर एथलीट चैंपियनशिप में उन्होंने भाग लिया और 10 हजार मीटर में गोल्ड मैडल हासिल किया. बस इसके बाद उन्होंने कभी पीछे नहीं मूड के नहीं दिखा. आज स्टेडियम में इन्हें खिलाड़ी चच्चा के नाम से पहचान मिली है.
महिपाल का खेल सफर
>> डिस्ट्रिक्ट मास्टर एथलीट चैंपियनशिप.
>>1500 मीटर – गोल्ड.
>>5000 मीटर – गोल्ड.
>>10 हजार मीटर- गोल्ड.
>>नेशनल एथलीट प्रतियोगिता इन चेन्नई – seventh रैंक.
>> 43 नेशनल मास्टर एथलीट चैंपियनशिप (कोलकाता ) 10 हजार मीटर – गोल्ड.
>>एसबीकेएफ राष्ट्रीय गेम्स – 1500 मीटर (गोल्ड )
युवाओं को भी करते हैं प्रोत्साहित
महिपाल सिंह ने Information 18 native को बताया कि वो चाहते हैं पुरा देश दौड़े. दौड़ने से सभी बीमारीयों का अंत हो जाता है. ऐसे में सुबह महिपाल अपने साथ दर्जनों लोगों को लेकर साथ दौड़ते हैं. इसका एक असर उनकी सेहत पर भी देखने को मिला है. इस उम्र में जहां अन्य बुजुर्ग कई सारी स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से घिर जाते हैं, तो वहीं महिपाल की सभी जांच बिलकुल नार्मल आती हैं.
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FIRST PUBLISHED : June 29, 2023, 11:36 IST